सहारनपुर। एक दिवसीय हल्पशिल्प सेमीनार का आयोजन स्थानीय अम्बाला रोड
स्थित एक होटल के सभागार में किया गया।
सेमिनार को सम्बोधित करते हुए डिजाइनर वंदना शर्मा ने हस्तशिल्पियों को
बताया कि कोविड के बाद का समय हस्तशिल्प उत्पाद के विकास एवं उत्पाद के
डिजाइन के लिए कैसा रहेगा। उन्होंने बताया कि निश्चित ही कोविड के कारण
हस्तशिल्प क्षेत्र पर बहुत बुरा असर पड़ा है और छोटे स्तर के हस्तशिल्पी
इससे ज्यादा प्रभावित हुए हैं, परंतु आने वाा समय एक अवसर की भांति होगा
जिसे भुनाना जरूरी होगा।
सेमिनार में विपणन की जानकारी देते हुए वक्ता हर्षवर्धन सेनी ने बताया कि
किसी भी व्यापार के लिए विपणन एक महत्वपूर्ण भूमिका अदा करता है। इसलिए
व्यापार में विपणन की सटीक जानकारी होना अति आवश्यक है। उन्होंने बताया
कि इंटरनेट मार्केटिंग विपणनका माध्यम है। डिजिटल मार्केटिंग हजारों
उपयोगकर्ताओं तक पहुंचाने का सबसे आसान तरीका है। यह पूरे डिजिटल स्पेस
में भारतीय हस्तकला निर्यातक या उत्पादों का विज्ञापन करने और ग्राहक के
साथ मजबूत सबंधं स्थापित करने में मदद करने का सबसे तेज तरीका है।
सेमिनार में हस्तशिल्प निर्यात संवर्धन परिषद नई दिल्ली के महानिदेशक
राकेश कुमार ने ईपीसीएच के द्वारा विभिन्न वर्ग के 50 हस्तशिल्पियों के
लिए सेमिनार में विस्तृत जानकारी दी।
सेमिनार में श्रीरामजी सुनेजा, पुलकित जैन, विकास आयुक्त हस्तशिल्प योगेश
पाठक, कालीन प्रशिक्षण अधिकारी विकास आयुक्त हस्तशिल्प मौहम्मद आसिफ,
प्रभारी सीएफसी सहारनपुर आदि मौजूद रहे।
एक दिवसीय हल्पशिल्प सेमीनार का आयोजन